आप की पोस्ट आज की ब्लोगर्स मीट वीकली (२१)में शामिल की गई है /आप आइये और अपने विचारों से हमें अवगत करिए /आप हिंदी की सेवा इसी तरह करते रहें यही कामना है /आपका मंच पर स्वागत है /जरुर पधारें /लिंक है / http://hbfint.blogspot.com/2011/12/21-save-girl-child.html
सब कुछ जनता जान गई ,इनके कर्म उजागर है चुल्लू भर जनता के हिस्से,इनके हिस्से सागर है, छल का सूरज डूबेगा , नई रौशनी आयेगी अंधियारे बाटें है तुमने, जनता सबक सिखायेगी,
बहुत खूब सर!
ReplyDeleteसादर
कल 12/12/2011को आपकी यह पोस्ट नयी पुरानी हलचल पर लिंक की जा रही हैं.आपके सुझावों का स्वागत है .
ReplyDeleteधन्यवाद!
beautiful.......
ReplyDeleteji nahi ye ro nahi rahe....naha rahe hain.....nazer nazer ki baat hai. :-)
ReplyDeletesunder prastuti.
सुन्दर अभिव्यक्ति
ReplyDeleteआप की पोस्ट आज की ब्लोगर्स मीट वीकली (२१)में शामिल की गई है /आप आइये और अपने विचारों से हमें अवगत करिए /आप हिंदी की सेवा इसी तरह करते रहें यही कामना है /आपका मंच पर स्वागत है /जरुर पधारें /लिंक है / http://hbfint.blogspot.com/2011/12/21-save-girl-child.html
ReplyDeleteबहुत खूब |
ReplyDeleteबहुत खूब कहा है.
ReplyDeleteचंद पंक्तिया और बेहतरीन अभिव्यक्ति.....
ReplyDeleteबहत खूब!
ReplyDeleteवाह अमित जी .,.. क्या बात है ... सच है की इन फूलों को भी रोना आता होगा किसी की याद में ...
ReplyDeleteये फूल भी
ReplyDeleteकिसी की याद में
सारी रात रोती है।
waah kamaal ka khayal hai, bahut sunder
चंद पन्तियों सुंदर भावपूर्ण रचना अच्छी पोस्ट ....
ReplyDeleteमेरी नई पोस्ट की चंद लाइनें पेश है....
सब कुछ जनता जान गई ,इनके कर्म उजागर है
चुल्लू भर जनता के हिस्से,इनके हिस्से सागर है,
छल का सूरज डूबेगा , नई रौशनी आयेगी
अंधियारे बाटें है तुमने, जनता सबक सिखायेगी,
पूरी रचना पढ़ने के लिए काव्यान्जलि मे click करे
behtreen......
ReplyDeleteसुंदर रचना।
ReplyDeleteबेहतरीन प्रस्तुति!
sundar rachana hai...
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